नई दिल्ली : जिमनास्टिक को भारत में स्टारडम दिलाने वाली महिला जिम्नास्ट दीपा कर्माकर अजरबैजान के बाकू और कतर के दोहा में होने वाले दो विश्व कप में अपना सौ फीसदी देने को तैयार हैं। उन्होंने कहा है कि उनके लिए हर एक टूर्नामेंट मुश्किल होता है, लेकिन वह कभी दबाव महसूस नहीं करतीं।
14 मार्च से शुरू हो रहा है टूर्नामेंट
दीपा ने 14 मार्च से शुरू होने वाले टूर्नामेंट से पहले फोन पर बातचीत करते हुए कहा कि उनकी ट्रेनिंग अच्छी चल रही है। वह अगरतला में अभ्यास कर रही हैं और उनकी कोशिश टूर्नामेंट में अपना सर्वश्रेष्ठ देने की रहेगी। उनके लिए हर टूर्नामेंट एक जैसा है।
नहीं महसूस कर रहीं दबाव
दीपा ने कहा कि उनके हिसाब से खिलाड़ियों का प्रदर्शन या तो ऊपर जाता है या फिर नीचे आता है। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि एशियाई खेलों के दौरान उन्होंने अच्छा प्रदर्शन नहीं किया। इसके चाहे जो कारण रहे हों। बता दें कि पिछले साल जकार्ता में हुए एशियाई खेलों में दीपा को पांचवां स्थान मिला था। उन्होंने यह भी कहा कि इसके बावजूद उनके ऊपर कोई दबाव नहीं है। बस उन्हें अपना सर्वश्रेष्ठ देना है। किसी टूर्नामेंट से पहले उन्हें खुद को संतुष्ट महसूस करना होगा।
कहा- बाहर रहना होता है मुश्किल
बता दें कि चोट के कारण दीपा 2 साल तक मैदान से बाहर रहीं थीं। 2017 में उन्होंने लिगामेंट सर्जरी कराई थी। इस पर बात करते हुए उन्होंने कहा कि उस दौरान वह प्रैक्टिस भी नहीं कर पा रही थीं। बतौर खिलाड़ी मैदान से बाहर रहना सबसे मुश्किल क्षण होता है।
चूक गई थीं रियो ओलंपिक में
रियो ओलम्पिक-2016 में दीपा ने शानदार प्रदर्शन करने के बावजूद काफी करीबी अंतर से पदक से चूक गईं थीं। इसके बाद से उनकी चर्चा पूरे देश में हो रही है। उनके इस प्रदर्शन के बाद ही देश में जिम्नास्टिक को पहचान मिली थी। दीपा को भी इस प्रदर्शन के लिए कई सम्मान मिले।
