भारतीय जनता पार्टी से पांच बार के विधायक जयराम ठाकुर को रविवार को पार्टी ने शिमला में आयोजित बैठक में विधायक दल का नेता चुना गया, अब वे हिमाचल प्रदेश के अगले मुख्यमंत्री होंगे. वे बुधवार को सीएम पद की शपथ लेंगे.
विधायक दल की बैठक में सुरेश भारद्वाज और महेंद्र सिंह ने ठाकुर के नाम का प्रस्ताव किया और अन्य सदस्यों ने उनके नाम का अनुमोदन किया. इस बैठक में भाजपा पर्यवेक्षक केंद्रीय मंत्री निर्मला सीमारमण और नरेंद्र सिंह तोमर, नवनिर्वाचित विधायक और पार्टी के अन्य प्रमुख नेता मौजूद रहे.

जयराम ठाकुर 38 साल की उम्र में ही विधायक चुने गए थे. उन्होंने तब कांग्रेस के दिग्गज नेता मोतीराम ठाकुर को हराकर राज्य की राजनीति में अपनी पहचान कायम की थी.
जयराम ठाकुर का जन्म मंडी जिले के टंडी में 6 जनवरी, 1965 को हुआ था, उन्होंने अपनी प्राथमिक शिक्षा गांव में ही पूरी की. 1980 में स्कूली शिक्षा पूरी करने के बाद घर की माली हालत ठीक न होने के कारण उन्हें दो साल के लिए अपनी पढ़ाई छोड़नी पड़ी.
विपरीत परिस्थितियों में आगे की पढ़ाई करने वाले जयराम ठाकुर ने छात्र राजनीति में कदम रखा और अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के सदस्य बने. जयराम ठाकुर के सांगठनिक कौशल के कारण ही उन्हें संगठन के काम के लिए जम्मू भेजा गया, जहां उन्होंने अपने काम से सभी को प्रभावित किया.
हिमाचल प्रदेश की राजनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले जयराम ठाकुर को राज्य की प्रेम कुमार धूमल सरकार में ग्रामीण विकास और पंचायती राज मंत्री बनाया गया. वे 2007 से 2009 तक भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भी रहे. उनका कार्यकाल पूरी तरह से विवादों से दूर रहा और सभी ने इसकी जमकर सराहना की.
जयराम ठाकुर पहाड़ी राज्य हिमाचल प्रदेश की कमान ऐसे वक़्त संभालने जा रहे हैं, जबकि पूर्व की वीरभद्र सरकार पर भ्रष्टाचार के तमाम आरोप लगे. राज्य के लोगों को उनसे उम्मीद है कि आने वाले समय में उनका शासन भ्रष्टाचार से पूरी तरह मुक्त होगा.
